रायपुर (वीएनएस)। किसी ने अपना मन बना लिया हो और भाग कर वह शादी कर लें, तो क्या आप उसे रोक सकते है। आपका कोई सगा संबंधी जब भगवान के पास जाता है, तो भी आप उसे नहीं रोक सकते हैं। ठीक वैसे ही आप संयम के रास्ते में जाने वालों को कैसे रोक सकते है। आपको ऐसा नहीं करना चाहिए। यह बातें मंगलवार को न्यू राजेंद्र नगर के मेघ-सीता भवन, महावीर स्वामी जिनालय परिसर में चल रहे चातुर्मासिक प्रवचन के दौरान साध्वी श्री स्नेहयशाश्रीजी ने कही।
हर व्यक्ति अपना स्वार्थ सिद्ध करता है। यह पूरी दुनिया ही स्वार्थ पर टिकी हुई है। अपना स्वार्थ सिद्ध करने के लिए व्यक्ति एक दूसरे से जुड़ता है, एक दूसरे के काम आता है, एक दूसरे से संबंध बनाता है, केवल लाभ लेने के लिए। एक बार काम होने के बाद लोग दूसरों को भूल जाते है। काम करते तक लोग साथ रहते है, काम करवाते तक भी साथ रहते है और जब काम न हो ताे भी एक व्यक्ति साथ छोड़ देता है। यही दुनिया की रीत है। अगर यह दुनिया से गायब हो जाए तो समझ लेना संसार खत्म हो जाएगा।
मंगलवार का दिन भगवान हनुमान की पूजा के लिए समर्पित है।
3 अक्टूबर को आश्विन कृष्ण पक्ष की उदया तिथि चतुर्थी और मंगलवार का दिन है।
2 अक्टूबर को आश्विन कृष्ण पक्ष की उदया तिथि तृतीया और सोमवार का दिन है।
हिंदू धर्म में सूर्यदेव की उपासना का अत्यधिक महत्व माना गया है।
01 अक्टूबर को आश्विन कृष्ण पक्ष की उदया तिथि द्वितीया और रविवार का दिन है।